Uttar Pradesh: यूपी में अलग राज्य को लेकर दो फाड़, शुरु हुआ भाजपा VS भाजपा
Uttar Pradesh: भारतीय जनता पार्टी के सांसद व केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान के पश्चिमी उत्तर प्रदेश को अलग राज्य बनाने की बात पर कड़ी विपक्ष के साथ-साथ कड़ी प्रतिक्रिया देखने को मिली है।
Uttar Pradesh: जब से केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान (Sanjeev Balyan) ने उत्तर प्रदेश के पश्चिमी हिस्से को अलग राज्य बनाने की बात कही है तब से ये मुद्दा सत्ताधारी पार्टी बीजेपी के गले की फांस बन गया है। दरअसल, इस मुद्दे ने सत्तारूढ़ भाजपा के लिए भयंकर स्थिति पैदा कर दी है। जिसमें बीजेपी खुद ही फसती जा रही है। इसी सप्ताह केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान ने अंतरराष्ट्रीय जाट संसद में पश्चिमी उत्तर प्रदेश को एक अलग राज्य बनाने की मांग उठाई थी।
उन्होंने यहां तक कहा था कि मेरठ को पश्चिमी राज्य की राजधानी बनाया जाना चाहिए। प्रदेश को बाटने की उनकी इसी मांग को लेकर अलग-अलग राय सामने आ रही हैं आपको बता दें जहां एक तरफ संजीव बलियान (Sanjeev Balyan) के इस बयान ने क्षेत्र में राज्य की दशकों पुरानी मांग मे एक बार फिर से पुनर्जीवित कर दिया तो वहीं भाजपा (BJP) की ओर से कुछ ही घंटों में इसका विरोध भी देखने को मिला।
पूर्व भाजपा विधायक संगीत सोम (Sangeet Som) ने कहा कि अगर ऐसा हुआ तो यह क्षेत्र 'मिनी पाकिस्तान' बन जाएगा। इससे अच्छा होगा की उसे दिल्ली में मिला दिया जाए क्योंकि कई दशकों से पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जन्संख्या में काफी परिवर्तन आ चुका है। फिर भी अगर ऐसा हुआ तो यह क्षेत्र मिनी पाकिस्तान (Pakistan) बन जाएगा।
मिली जानकारी के मुताबिक संगीत सोम (Sangeet Som) ने क्षेत्र में पिछले कुछ सालों मे आए परिवर्तन को लेकर इस बात पर जोर दिया। सरधना से दो बार विधायक रह चुके संगीत सोम का कहना है कि अगर अब इस क्षेत्र का बंटवारा हुआ तो हिंदू यहां अल्पसंख्यक हो जाएंगे। संजीव बालियान ने अंतरराष्ट्रीय जाट संसद में बताया कि पूरे पश्चिमी उत्तर प्रदेश की आबादी 8 करोड़ है और यहां से हाईकोर्ट की दूरी 750KM है ऐसे में ये मांग जायज है।
संजीव बालयान के बयान पर RLD ने दी प्रतिक्रिया
संजीव बालियान (Sanjeev Balyan) के बयान पर जयंत चौधरी की पार्टी राष्ट्रीय लोक दल (RLD) की भी प्रतिक्रिया सामने आई है। राष्ट्रीय लोक दल (RLD) के प्रवक्ता अनिल दूबे (Anil Dubey) ने संजीव बालियान (Sanjeev Balyan) को कहा है कि भाषण बाजी से काम नहीं चलेगा। सरकार में शामिल लोगों को भाषण देने की जरुरत नहीं है। अगर वे सच में पश्चिमी यूपी (Western UP) के लोगों का दर्द समझते हैं और पश्चिमी यूपी (Western UP) का सही मायने में विकास चाहते हैं तो राज्य सरकार (State Government) की ओर से काफी पहले ही प्रस्ताव भेजा गया है, पहले उसपर अमल करके दिखाएं। दरअसल, पश्चिमी राज्य की मांग उत्तर प्रदेश की राजनीति में काफी पुराना मुद्दा है। राष्ट्रीय लोक दल के पूर्व प्रमुख चौधरी अजीत सिंह ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश में हरित प्रदेश के गठन की मांग काफी पहले ही उठाई थी।
ओपी राजभर ने किया समर्थन
सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के प्रमुख ओपी राजभर (OP Rajbhar) ने संजीव बालियान (Sanjeev Balyan) की इस बात का समर्थन करते हुए कहा कि "उत्तर प्रदेश एक बड़ा राज्य है और कुशल प्रशासन और सुचारू व्यवसथाओं के लिए इसे चार राज्यों में विभाजित किया ही जाना चाहिए।"
क्या बोले कांग्रेस प्रवक्ता अशोक सिंह ?
कांग्रेस प्रवक्ता अशोक सिहं (Ashok Singh) ने संजीव बालियान के इस बात पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि कांग्रेस प्रवक्ता अशोक सिंह (Ashok Singh) ने कहा कि केंद्रीय मंत्री ने महंगाई, बेरोजगारी और कानून-व्यवस्था में गिरावट जैसे मुद्दों से लोगों का ध्यान भटकाने के लिए यह मुद्दा उठाया है। उन्होंने कहा, ''भाजपा पश्चिमी उत्तर प्रदेश में अपनी जमीन खो रही है।