Mokshada Ekadashi 2023: मोक्षदा एकादशी को करें विष्णु जी की आरती, बनेंगे बिगड़े काम

हिन्दू पंचाग के अनुसार मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मोक्षदा एकादशी मनाई जाती है। इस वर्ष मोक्षदा एकादशी 22 दिसंबर को पड़ रही है।

Mokshada Ekadashi 2023: मोक्षदा एकादशी को करें विष्णु जी की आरती, बनेंगे बिगड़े काम

Mokshada Ekadashi 2023: हिन्दू धर्म में हर महीने में 2 एकादशी होती है। एक कृष्ण पक्ष में और दूसरी शुल्क पक्ष में। हिन्दू पंचाग के अनुसार मार्गशीर्ष माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मोक्षदा एकादशी मनाई जाती है। इस वर्ष मोक्षदा एकादशी 22 दिसंबर को पड़ रही है। माना जाता है कि इस दिन जगत के पालनहार अर्थात् भगवान विष्णु की पूजा और व्रत करने से साधकों को शुभ फल की प्राप्ति है। साथ ही भगवान विष्णु जी का आशीर्वाद प्राप्त होता और जीवन में खुशहाली आती है। एकादशी के दिन चावल का सेवन नही करना चाहिए। धार्मिक मतानुसार पूजा के दौरान भगवान विष्णु की आरती करने से साधक को जीवन की सभी परेशानियों से निजात मिलती है और उनके घर में मां लक्ष्मी का वास होता है। 

भगवान विष्णु आरती 

ॐ जय जगदीश हरे, स्वामी ! जय जगदीश हरे।

भक्त जनों के संकट, क्षण में दूर करे॥

ॐ जय जगदीश हरे।

जो ध्यावे फल पावे, दुःख विनसे मन का।

स्वामी दुःख विनसे मन का।

सुख सम्पत्ति घर आवे, कष्ट मिटे तन का॥

ॐ जय जगदीश हरे।

मात-पिता तुम मेरे, शरण गहूँ मैं किसकी।

स्वामी शरण गहूँ मैं किसकी।

तुम बिन और न दूजा, आस करूँ जिसकी॥

ॐ जय जगदीश हरे।

तुम पूरण परमात्मा, तुम अन्तर्यामी।

स्वामी तुम अन्तर्यामी।

पारब्रह्म परमेश्वर, तुम सबके स्वामी॥

ॐ जय जगदीश हरे।

तुम करुणा के सागर, तुम पालन-कर्ता।

स्वामी तुम पालन-कर्ता।

मैं मूरख खल कामी, कृपा करो भर्ता॥

ॐ जय जगदीश हरे।

तुम हो एक अगोचर, सबके प्राणपति।

स्वामी सबके प्राणपति।

किस विधि मिलूँ दयामय, तुमको मैं कुमति॥

ॐ जय जगदीश हरे।

दीनबन्धु दुखहर्ता, तुम ठाकुर मेरे।

स्वामी तुम ठाकुर मेरे।

अपने हाथ उठा‌ओ, द्वार पड़ा तेरे॥

ॐ जय जगदीश हरे।

विषय-विकार मिटा‌ओ, पाप हरो देवा।

स्वमी पाप हरो देवा।

श्रद्धा-भक्ति बढ़ा‌ओ, सन्तन की सेवा॥

ॐ जय जगदीश हरे।

श्री जगदीशजी की आरती, जो कोई नर गावे।

स्वामी जो कोई नर गावे।

कहत शिवानन्द स्वामी, सुख संपत्ति पावे॥

ॐ जय जगदीश हरे।