Real meaning of hello:, फोन करते वक्त क्यों बोलते हैं हैलो, क्या होता है इसका मतलब और क्या है इसके पीछे की दिलचस्प कहानी?
Real meaning of hello: हैलो एक आम शब्द है अक्सर जब भी आप फोन कॉल का जवाब देते हैं। तो शुरुआत इसी अभिवादन से होती है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि विश्व हैलो दिवस हर साल 21 नवंबर को मनाया जाता है? हम हर दिन अनगिनत बार 'हैलो' शब्द का यूज़ करते हैं। जैसे की दोस्त से बात करनी हो या घर वालों को कॉल करना हो एक सामान्य संकेत के तौर पर भी हम इस शब्द का इस्तेमाल किया जाता है। फोन पर या कभी सामने मिलने पर भी बातचीत की शुरुआत हेलो से ही होती है।
Real meaning of hello:आज खबर काम की में बात हैलो शब्द पर ही करेगें। क्या आपने कभी इसके बारे में सोचा है ये शब्द कहां से आया क्यों हम फोन उठाते ही या किसी को मिलाते ही सबसे पहले ही क्यों बोलते हैं।
आज भले ही कंपनियां शानदार फीचर्स वाले फोन बना रही हों, लेकिन इसके पीछे टेलीफोन के आविष्कारक एलेक्ज़ेंडर ग्राहम बेल (Alexander Graham Bell)का अहम रोल रहा है।
ग्राहम बेल ने 2 जून, 1875 को टेलीफोन का आविष्कार किया था। 7 मार्च, 1876 को उन्होंने टेलीफोन का पेटेंट करवाया और उसी दिन से ग्राहम बेल आधिकारिक रूप से टेलीफोन के आविष्कारक बन गए टेलीफोन पर बात शुरू होते ही हेलो बोलने का चलन भी उसी दौर का है।
अब समझते हैं कि हम फोन उठाते ही हेलो (HELLO) क्यों बोलते हैं।
टेलीफोन पर हेलो (Hello)बोलने के चलन को लेकर एक कहानी खूब सुनाई जाती है कहा जाता है कि ग्राहम बेल की गर्लफ्रेंड का नाम मारग्रेट हेलो था। इसलिए जब ग्राहम बेल ने पहला फोन किया तो मारग्रेट हेलो को किया। फिर उन्होंने फोन पर बात शुरू करने से पहले हर बार हेलो कहना शुरू कर दिया।
हालांकि, ये बात पूरी तरह से हजम नहीं होती और इसलिए भी झूठी लगती है क्योंकि इस बात का कोई साक्ष्य (evidence) आजतक नहीं मिला। दूसरी बात ये कि बेल ने अपनी गर्लफ्रेंड से ही शादी की यानी उनकी गर्लफ्रेंड ही उनकी पत्नी बनी लेकिन उनकी पत्नी का नाम तो माबेल गार्डिनर हबर्ड (Mabel Gardiner Hubbard) था।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिकन टेलीग्राफ एंड टेलीफोन कंपनी के दस्तावेजों से पता चलता है कि ग्राहम बेल ने हेलो (Hello) शब्द का इस्तेमाल कभी किया ही नहीं था उन्होंने सबसे पहले अपने असिस्टेंट से बात की थी और उसे फोन पर बोला था, “Come-here. I want to see you.” यानी "यहां आओ, मैं तुम्हें देखना चाहता हूं या तुमसे मिलना चाहता हूं।"
Ahoy शब्द का क्या है मतलब-
बहरहाल माना जाता है कि ग्राहम बेल टेलीफोन पर बात करते वक्त Ahoy शब्द का इस्तेमाल करते थे। टेलीफोन के आविष्कार के बाद जब लोगों ने इसका इस्तेमाल करना शुरू किया, तो बात करने के दौरान सबसे पहले पूछते थे Are you there? इस शब्द का इस्तेमाल वे इसलिए करते थे। ताकि उन्हें यह पता चल सके कि सामने वाले को उनकी आवाज सुनाई दे रही है या नहीं।
Hello बोलने के चलन को लेकर भले ही लोगों को कई तरह की गलतफहमियां हैं। लेकिन कहा जाता है कि इसके पीछे की असली वजह एक गलतफहमी ही है। बताया जाता है कि एक बार Thomas Edison ने Ahoy शब्द को गलत सुन लिया और उन्होंने गलतफहमी में Ahoy के बदले Hello बोल दिया।
कहा यह भी जाता है कि एडिसन को Are you there इतना लंबा वाक्य बोलना पसंद नहीं था। साल 1877 में उन्होंने हेलो बोलने का प्रस्ताव रखा। (Central District and Printing Telegraph Company of Pittsburgh) पिट्सबर्ग का सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट और प्रिंटिंग टेलीग्राफ कंपनी के अध्यक्ष टीबीए स्मिथ को एडिसन (Edison) ने लिखा था कि टेलीफोन पर स्वागत शब्द के रूप में हेलो का इस्तेमाल करना चाहिए उनके इस प्रस्ताव को मान लिया गया।
फिर जब उन्होंने पहली बार फोन किया तो सबसे पहले ‘हेलो’ शब्द का ही इस्तेमाल किया उन दिनों टेलीफोन एक्सचेंज में काम करने वाली ऑपरेटरों को ‘हेलो गर्ल्स’(Hello girls) कहा जाता था। इस तरह यह अभिवादन के लिए भी प्रयोग किया जाने लगा।
अब आपको बताते हैं कि ये हैलो दिवस मनाया क्यों जाता है। इसका रिश्ता जुड़ा है साल 1973 के यौम किप्पुर युद्ध से बताया जाता है कि इस युद्ध के दौरान हजारों की संख्या में सैनिक और निर्दोष नागरिक मारे गए थे। युद्ध के अंत में इजराइल और मिस्र में शांति स्थापित करने के लिए जो पहला शब्द इस्तेमाल किया वह था हेलो। इसी वजह से दुनिया मे शांति और दोस्ती को बढ़ाने के लिए विश्व हेलो दिवस मनाने की शुरुआत की गई।