'Remal' storm: आज बंगाल तट से टकराएगा 'रेमल' तूफान, 135 किमी. प्रति घंटे की रफ्तार से चलेंगी हवाएं
बंगाल की खाड़ी में आज चक्रवाती तूफान 'रेमल' की चेतावनी है। रेमल तूफान आज रात बंगाल के समुंदरी तट से टकराएगा। मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी में लगभग 1.5 मीटर ऊंची लहरें उठेंगी। इस दौरान करीब 135 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेंगी।
'Remal' storm: बंगाल की खाड़ी (Bay of Bengal) में आज चक्रवाती तूफान 'रेमल' (Cyclonic storm 'Remal') की चेतावनी है। रेमल तूफान आज रात बंगाल के समुंदरी तट से टकराएगा। मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी में लगभग 1.5 मीटर ऊंची लहरें उठेंगी। इस दौरान करीब 135 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेंगी। इससे बंगाल और बांग्लादेश के निचले स्थानों में पानी भर सकता है। इस बीच मौसम विभाग ने मछुआरों को समुद्र में न जाने की चेतावनी जारी की है। रेमल तूफान का सबसे ज्यादा असर पूर्वी मेदिनीपुर, 24 परगना, सुंदरबन मैंग्रोव में देखने को मिलेगा।
अगले 4 दिन तक रहेगा 'रेमल' तूफान का असर
26 और 27 मई को पश्चिम बंगाल (West Bengal) के दक्षिण और उत्तर 24 परगना के जिलों में बारिश का रेड अलर्ट है। कोलकाता, नादिया, हावड़ा, और पूर्व मेदिनीपुर जिलों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। वहीं नॉर्थ ओडिशा में बालासोर, भद्रक और केंद्रपाड़ा में भी 26 और 27 मई को भारी बारिश होगी, जबकि मयूरभंज में 27 मई को बारिश की संभावना है। मौसम विभाग के मुताबिक, 'रेमल' तूफान का असर अगले 4 दिन तक रहेगा। इसके चलते नॉर्थ बंगाल के जिलों कूच बिहार, अलीपुरद्वार और जलपाईगुड़ी में 28 और 29 मई को भारी बारिश होने की संभावना है। वहीं, दार्जिलिंग, कालिम्पोंग, उत्तर और दक्षिण दिनाजपुर जिलों में भी भारी बारिश की चेतावनी है।
कोलकाता एयरपोर्ट की 394 उड़ाने रद्द
वहीं रेमल तूफान को देखते हुए कोलकाता का नेताजी सुभाष चंद्र बोस एयरपोर्ट (Kolkata's Netaji Subhash Chandra Bose Airport) अलर्ट हो गया है। एयरपोर्ट को रविवार दोपहर 12 बजे से सोमवार 9 बजे तक के लिए बंद कर दिया गया है। जिसके चलते 394 उड़ाने रद्द कर दी गई हैं। इसके अलावा ईस्ट और साउथ ईस्ट रेलवे भी अलर्ट है। रेलने ने दक्षिण और उत्तर 24 परगना और पूर्वी मेदिनीपुर जिलों से होकर जाने वाली कुछ ट्रेनों को एहतियात के तौर पर रद्द कर दिया है।
बंगाल की खाड़ी का पहला प्री-मॉनसून चक्रवात
बता दें कि इस सीजन में बंगाल की खाड़ी में बनने वाला यह पहला प्री-मॉनसून चक्रवात है। चक्रवाती तूफान रेमल का असर पश्चिम बंगाल के पूर्वी मेदिनीपुर, सुंदरबन, त्रिपुरा और ओडिशा में समंदर किनारे बसे जिलों में ज्यादा होगा। इसलिए एनडीआरएफ (NDRF) की टीमें इन इलाकों में रहने वालों और टूरिस्ट को सुरक्षित जगहों पर ले जा रहे हैं। इसके साथ ही भारतीय नौसेना भी अलर्ट मोड में है। सेना ने मानवीय सहायता और आपदा राहत के लिए अपनी तैयारी पूरी कर ली है। नौसेना की तैयारी के अंतर्गत दो जहाजों को राहत और बचाव कार्य के लिए तैयार किया है। सी किंग और चेतक हेलीकॉप्टर्स, डोर्नियर विमानों, गोताखोर टीम और बाढ़ राहत टीम भी तैयार रखी गई है। नौसेना की राहत और बचाव कार्रवाई मौजूदा मानक संचालन प्रक्रियाओं (एसओपी) का पालन करते हुए शुरू की गई है।
नौसेना ने दो जहाजों को किया तैयार
वहीं रक्षा मंत्रालय ने बताया कि पूर्वी नौसेना कमान मुख्यालय द्वारा व्यापक प्रारंभिक कार्रवाई के साथ, नौसेना मुख्यालय में भी स्थिति पर बारीकी से नजर रखी जा रही है। रेमल के गंभीर चक्रवात में बदलने की आशंका है, इसके सागर द्वीप, पश्चिम बंगाल और खेपुपारा, बांग्लादेश के बीच टकराने का अनुमान है। अपनी तैयारी के अंतर्गत भारतीय नौसेना ने प्रभावित आबादी की सुरक्षा और राहत सुनिश्चित करने के लिए एचएडीआर और चिकित्सा आपूर्ति से लैस दो जहाजों को तैयार किया है। नौसेना के जहाजों की तत्काल तैनाती की जा रही है। रक्षा मंत्रालय का कहना है कि इसके अतिरिक्त, सी किंग और चेतक हेलीकॉप्टर के साथ-साथ डोर्नियर विमानों सहित भारतीय नौसेना की विमानन संपत्तियां त्वरित प्रतिक्रिया के लिए तैयार हैं।
कोलकाता में विशेष गोताखोर टीम तैनात
मंत्रालय के मुताबिक, प्रभावित लोगों को त्वरित सहायता प्रदान करने के लिए उपकरणों के साथ विशेष गोताखोर टीम को कोलकाता में तैनात किया गया है। आवश्यक उपकरणों के साथ अतिरिक्त गोताखोर टीम विशाखापत्तनम में स्टैंडबाय हैं, जो जरूरत पड़ने पर त्वरित तैनाती और कार्रवाई के लिए तैयार हैं। एचएडीआर और चिकित्सा आपूर्ति के साथ दो बाढ़ राहत टीमें (एफआरटी) कोलकाता में तैनात की जा रही हैं। इसके अलावा विशाखापत्तनम और चिल्का से दो-दो एफआरटी तैयार हैं और सूचना पर तैनाती के लिए तैयार हैं। रक्षा मंत्रालय का कहना है कि भारतीय नौसेना सतर्क है और चक्रवात 'रेमल' के मद्देनजर तत्काल और प्रभावी सहायता प्रदान करने के लिए उभरती स्थिति पर बारीकी से नजर रख रही है।