Patan Lok Sabha Elections 2024 : गुजरात के पाटन में बोले राहुल गांधी, यह चुनाव दो विपरीत विचारधाराओं की लड़ाई

गुजरात की पाटन लोकसभा सीट पर चुनाव प्रचार करने आए सांसद राहुल गांधी ने भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर जमकर निशाना साधा। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि यह लोकसभा चुनाव दो विपरीत विचारधाराओं के बीच एक महत्वपूर्ण लड़ाई है।

Patan Lok Sabha Elections 2024 : गुजरात के पाटन में बोले राहुल गांधी, यह चुनाव दो विपरीत विचारधाराओं की लड़ाई

Patan Lok Sabha Elections 2024 : गुजरात की पाटन लोकसभा सीट पर चुनाव प्रचार करने आए सांसद राहुल गांधी ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) पर जमकर निशाना साधा। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने कहा कि यह लोकसभा चुनाव दो विपरीत विचारधाराओं के बीच एक महत्वपूर्ण लड़ाई है। उन्होंने अग्निपथ योजना और बढ़ते निजीकरण जैसी सरकार की नीतियों की भी आलोचना की, जिसका उद्देश्य आरक्षण प्रणाली को खत्म करना है।

सरकार की नीतियों की जमकर आलोचना की

पाटन में एक जनसभा को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा, ''यह चुनाव दो विचारधाराओं के बीच की लड़ाई है। एक तरफ भाजपा और आरएसएस हमारे संविधान को खत्म करना चाहते हैं, वहीं दूसरी तरफ कांग्रेस और इंडिया ब्लॉक इसकी रक्षा कर रहे हैं।'' कांग्रेस नेता ने हाल के वर्षों में बढ़ी सामाजिक-आर्थिक असमानताओं के लिए भी सत्तारूढ़ सरकार को दोषी ठहराया।

भाजपा संविधान को खत्म करना चाहती है- राहुल

गांधी ने कहा, "आपको देश के शीर्ष एंकरों और संपादकों में कोई आदिवासी या दलित नहीं मिलेगा। न ही आप टेलीविजन पर बेरोजगार युवाओं या किसानों को देखेंगे। टीवी पर अमीर और बॉलीवुड अभिनेताओं की भव्य शादियां दिखाई जाती हैं।'' बेरोजगारी संकट पर बोलते हुए राहुल ने कहा कि ऐसे मुद्दों को बहुत कम सामने लाया जाता है। किसानों, मजदूरों और छोटे व्यवसाय मालिकों सहित 90 प्रतिशत भारतीयों की आवाज मीडिया में शायद ही कभी सुनी जाती है।

1989 से पाटन सीट आरक्षित कर दी गई

पाटन सीट पर शुरू में कांग्रेस का दबदबा था और बाद में स्वतंत्र पार्टी और लोक दल जैसी अन्य पार्टियों ने इसे चुनौती दी। 1989 में एक महत्वपूर्ण क्षण तब आया जब सीट अनुसूचित जाति वर्ग के लिए आरक्षित कर दी गई, जिससे जनता दल को जीत मिली। इसने पाटन में राजनीतिक प्रतिनिधित्व की प्रकृति में बदलाव को चिह्नित किया। 1991 में भाजपा ने यह सीट जीती और महेश कनोडिया ने भाजपा और कांग्रेस के बीच चल रहे मुकाबले के लिए मंच तैयार किया।