Pinddan Niyam 2024: क्या बिना पंडित के कर सकते है पिंडदान, यहां जाने क्या है तरीका

वैसे तो पिंडदान पंडित जी करते है लेकिन क्या आपके मन में ऐसा कोई सवाल आया है कि क्या आप पंडित के न होने पर पिंडदान कर सकते हैं या नहीं। तो चलिए आज हम आपके इस सवाल का जवाब देंगे।

Pinddan Niyam 2024: क्या बिना पंडित के कर सकते है पिंडदान, यहां जाने क्या है तरीका

Pinddan Niyam 2024: हिंदु-धर्म में पितृ पक्ष के दौरान पिंडदान करना काफी शुभ माना जाता है। मान्यता है की ऐसा करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है और उनका आशीर्वाद हमेशा आपके परिवार पर बना रहता है। वैसे तो पिंडदान पंडित जी करते है लेकिन क्या आपके मन में ऐसा कोई सवाल आया है कि क्या आप पंडित के न होने पर पिंडदान कर सकते हैं या नहीं। तो चलिए आज हम आपके इस सवाल का जवाब देंगे।  

पंडित के न होने पर कैसे करें पिंडदान 

शास्त्रों में वैसे तो पंडित द्वारा ही पिंडदान कराए जाने का विधान है, लेकिन अगर पंडित न हो तो आप क्या करेंगे? ऐसे में हमारे शास्त्रों ने स्वयं को भी पिंडदान करने का अधिकार दिया है। भगवान सूर्य को जगत का पंडित कहा गया है। पंडित यानी परम ब्रह्मज्ञानी और सूर्य से बड़ा ज्ञानी किसी और को नहीं माना गया है। इसलिए सूर्य को पंडित की दर्जा दिया गया है। ऐसे में भगवान सूर्य को ही पंडित मानते हुए पितरों के मोक्ष के लिए पिंडदान किया जा सकता है। इसके लिए किसी भी पावन तीर्थ स्थल पर जल धारा में खड़े होकर हाथ में जो, तिल, चावल, दाल लेकर जल के साथ पितु आत्माओं का नाम लेकर भगवान सूर्य को अर्पित करें। कम-से- कम ग्यारह बार प्रत्येक पितु आत्मा के लिए तर्पण प्रदान करें। इसके अलावा बहते जल में कच्चा दूध, चावल के लड्डू, अदरक, सूखे आंवले और कच्ची सूत के धागे प्रवाहित करें। दीपदान भी करें और तिलक, अक्षत, फुल और मिठाई अर्पित करें। पितरों के नाम से एक-एक नारियल भी जल में प्रवाहित करें। पिंडदान करने से पहले इस बात का ध्यान रखें कि शरीर पर सिले हुए वस्त्र धारण नहीं करें। श्राद्धकर्ता को स्नान करके पवित्र होकर धुली हुई धोती धारण करना चाहिए। 

पिंडदान के समय पहने ऐसे वस्त्र

पिंडदान करने के लिए सफेद या पीले वस्त्र पहने। वैसे तो पिंडदान करने का अधिकार पुरुषों को ही है लेकिन अगर किसी परिवार में पिंडदान करने के लिए पुरुष नहीं है, तो महिलाएं भी श्राद्ध और पिंडदान कर सकती हैं। लेकिन पिंडदान करते समय महिलाओं को भी सफेद या पीले वस्त्र ही पहने चाहिए।

पितृपक्ष में क्या करना चाहिए

  • पशु-पक्षियों को भोजन कराएं। गरीबों और ब्राहमणों को अपने श्रद्धा अनुसार दान करें। 
  • घर में कोई भी शुभ काम या नए काम की शुरुआत श्राद्ध के दौरान नहीं करना चाहिए।
  • पितृस्तोत्र का पाठ करें, इससे भी पितर प्रसन्न होते हैं।
  • तिल कुशा सहित जल लेकर पितु तीर्थ यानी अंगूठे की ओर से धरती पर छोड़ने से पितरों को तृप्ति मिलती है।